राहुल गांधी जैसे ही आरोप में फंसे.
मनीष द्विवेदी।मंगल भारत। पूर्व मुख्यमंत्री और मौजूदा राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह की सदस्यता समाप्ती को लेकर कयासों का दौर शुरु हो गया है। इसकी वजह है उन पर दर्ज मानहानी मामले में कोर्ट द्वारा आरोप तय कर दिया जाना। यह मामला भाजपा प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा द्वारा दायर किया गया था। यही वजह है कि अब इस आपराधिक मानहानि के केस में पूर्व सीएम और राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह की मुश्किल बढ़ गई है। सांसद-विधायकों के लिए बनी विशेष कोर्ट ने बीते रोज उनके खिलाफ आईपीसी की धारा 500 के तहत आरोप तय कर दिए हैं। ये वही धारा है जिसके तहत कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर सूरत की मजिस्ट्रेट कोर्ट में आरोप लगे थे। आरोप साबित होने के बाद राहुल को कोर्ट ने दो साल की सजा सुनाई थी। बाद में उनकी संसद सदस्यता भी चली गई थी। फिलहाल दिग्विजय केस की ट्रायल मजिस्ट्रेट विधान माहेश्वरी की अदालत में 1 जुलाई से शुरू होगी। दरअसल, दिग्विजय ने 2014 में व्यापमं कांड की जांच की मांग को लेकर सीबीआई को कुछ चिट्टियां लिखी थीं। उनमें उन्होंने आरोप लगाया था कि वीडी शर्मा ने व्यापमं घोटाले में बिचौलिए का काम किया था।
अभी जमानत पर हैं दिग्विजय
कांग्रेस नेता और मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने इस मामले में बीते माह 4 फरवरी को जमानत कराई थी, वे तभी से जमानत पर चल रहे हैं। वे तब भोपाल जिला अदालत में अपने विधायक भाई और बेटा जयवर्धन सिंह के साथ गए थे। 4 फरवरी को कोर्ट ने दिग्विजय को हाजिर होने के आदेश दिए थे। तब अदालत से बाहर आने के बाद राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह ने कहा था कि उनके द्वारा इस मामले में जमानत करा ली गई है। चार राज्यों में मेरे ऊपर मानहानि के मामले चल रहे हैं, सबका जवाब दे रहा हूं। इस मामले में मांग सीबीआई इन्वेस्टिगेशन की हुई थी, लेकिन वो नहीं हुई। कई ऐसे लोग आरोपी हैं, लेकिन शिवराज सरकार ने उन्हें हटाया नहीं है। वह सरकारी मकानों में रह रहे हैं। यह पूरी साजिश शिवराज सिंह और उनके दलालों की है जिन्होंने प्रदेश को लूटा है। इस मामले में वही लोग शामिल हैं जिन लोगों ने व्यापमं की दलाली की है।
श्रीमंत पर भी केस
दिग्विजय को लेकर केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के बयान पर कांग्रेस ने बुधवार को ग्वालियर के न्यायालय में परिवाद पेश किया। इसमें मंत्री तुलसी सिलावट व महेंद्र सिंह सिसौदिया को भी पार्टी बनाया है। परिवाद कांग्रेस लीगल सेल के नितिन कुमार शर्मा व ज्ञान सिंह यादव ने पेश किया है। इस पर कोर्ट 8 मई को सुनवाई करेगा। कांग्रेस का आरोप है कि सिंधिया ने 22 अप्रैल 2023 को दिग्विजय को देश विरोधी बताया था।
यह है मामला
यह पूरा मामला एक लाइव प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान घटित हुआ था, जिसमें दिग्विजय सिंह ने व्यापमं मामले में वीडी शर्मा शर्मा जो कि उस समय एबीवीपी के महासचिव थे, उन पर व्यापमं मामले में बिचौलिया होने का आरोप लगाया था। इसके बाद वीडी शर्मा ने न्यायालय में दिग्विजय सिंह के खिलाफ मानहानि का मुकदमा दर्ज किया था। शर्मा के वकील का कहना है कि यदि दिग्विजय सिंह दोषी पाए जाते हैं तो उन्हें इस पूरे मामले में 2 साल या उससे अधिक की सजा हो सकती है। यदि यह सजा होती है तो उनकी राज्यसभा की सदस्यता पर भी प्रभाव पड़ सकता है। उन्होंने राहुल गांधी के मामले का उदाहरण देते हुए कहा कि 2 साल की सजा के चलते राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता गई है।