साइक्लोन फेंगल का आज लैंडफॉल! तमिलनाडु में भारी बारिश का अलर्ट

साइक्लोन फेंगल का आज लैंडफॉल! तमिलनाडु में भारी बारिश का अलर्ट.

भारतीय मौसम विभाग ने बंगाल की खाड़ी के ऊपर बने चक्रवाती तूफान फेंगल को लेकर तमिलनाडु के कई हिस्सों के लिए रेड अलर्ट जारी किया है। फेंगल आज दोपहर पुडुचेरी के करीब पहुंच सकता है। इसके प्रभाव से तटीय इलाकों में तेज बारिश का अनुमान है और हवा की गति 90 किलोमीटर प्रति घंटा तक पहुंच सकती है। इस दौरान समुद्र में ऊंची लहरें उठने का अनुमान आईएमडी ने लगाया है। आईएमडी के साइक्लोनिक डिवीजन के प्रमुख आनंद दास ने कहा कि तमिलनाडु, दक्षिण आंध्र प्रदेश, केरल और आंतरिक कर्नाटक के कई हिस्सों में भारी से अत्यधिक भारी वर्षा की संभावना को देखते हुए रेड अलर्ट जारी किया गया है। चेन्नई के क्षेत्रीय मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक डॉ। एस बालाचंद्रन ने कहा, पुडुचेरी के पास कराईकल और महाबलीपुरम के बीच क्रॉसिंग पॉइंट वाले ज्यादातर तटीय जिलों पर फेंगल साइक्लोन का अधिक प्रभाव पड़ेगा। तेज हवा के साथ भारी बारिश होगी। हवा की गति 60-70 किमी/घंटा से लेकर 90 किमी/घंटा तक पहुंच सकती है. दोपहर 1 से 2 बजे के बीच अत्यधिक भारी बारिश होगी. कई स्थानों पर भारी से बहुत भारी वर्षा होगी.’ पुडुचेरी और कांचीपुरम सहित तमिलनाडु के विभिन्न जिलों में आज सभी स्कूल और कॉलेज बंद रहेंगे. इस बीच, पुडुचेरी मत्स्य पालन विभाग ने मछुआरों के लिए एक एडवाजरी जारी की है।

बांग्लादेश: नमाज के बाद जुटी भीडऩे तीन हिंदू मंदिरों पर बोला धावा, की तोडफ़ोड़
बांग्लादेश के चटगांव में शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद नारे लगाती उपद्रवियों की भीड़ ने तीन हिंदू मंदिरों में तोडफ़ोड़ की। चटगांव में इस्कॉन के पूर्व सदस्य और हिंदू संत चिन्मय कृष्ण दास ब्रह्मचारी पर देशद्रोह के आरोप के तहत मामला दर्ज होने और उनकी गिरफ्तारी के बाद से विरोध प्रदर्शन और हिंसा देखी गई है। स्थानीय न्यूज पोर्टल की रिपोर्ट के अनुसार, चटगांव के हरीश चंद्र मुंसेफ लेन में स्थित हिंदू मंदिरों पर हमला शुक्रवार दोपहर करीब 2:30 बजे हुआ। उपद्रवियों की भीड़ ने शांतनेश्वरी मातृ मंदिर, शोनी मंदिर और शांतनेश्वरी कालीबाड़ी मंदिर को निशाना बनाया। मंदिर अधिकारियों ने बताया कि नारेबाजी कर रहे कई सौ लोगों के एक समूह ने मंदिरों पर ईंट-पत्थर फेंके, जिससे शोनी मंदिर और अन्य दो मंदिरों के द्वार क्षतिग्रस्त हो गए। कोतवाली थाना प्रमुख अब्दुल करीम ने हमले की पुष्टि करते हुए कहा कि हमलावरों ने मंदिरों को नुकसान पहुंचाने का प्रयास किया। हालांकि, पुलिस ने कहा कि दोनों पक्षों के बीच टकराव में मंदिरों को बहुत अधिक नुकसान नहीं पहुंचा है। दोनों समूहों ने एक-दूसरे पर ईंट-पत्थर फेंके।

महाराष्ट्र: सीएम पद को लेकर हलचल तेज शिंदे आज ले सकते हैं बड़ा फैसला
महाराष्ट्र में चुनावी नतीजे घोषित होने के एक सप्ताह बाद भी नए मुख्यमंत्री को लेकर सस्पेंस बकरार है। सीएम और डिप्टी सीएम के चेहरे को लेकर लगातार सियासी गलियारों में हलचल मची हुई है। इस बीच, कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे अपने पैतृक गांव चले गए। इस वजह से महाराष्ट्र सरकार के गठन पर फैसला लेने के लिए मुंबई में होने वाली महायुति की अहम बैठक स्थगित कर दी गई थी। इसके बाद अटकलें लगाई जाने लगी कि क्या शिंदे सरकार गठन के फैसले से नाराज हैं और इसलिए सतारा जिले में अपने गांव चले गए हैं। हालांकि, अब उनकी पार्टी के नेता उदय सामंत ने सभी अटकलों पर विराम लगा दिया है। उन्होंने दावा किया कि कार्यवाहक मुख्यमंत्री परेशान नहीं हैं। वो बुखार और सर्दी से पीडि़त होने के कारण अपने पैतृक गांव चले गए। शिवसेना के एक दूसरे नेता संजय शिरसाट ने कहा कि एकनाथ शिंदे अगले 24 घंटों में कोई बड़ा फैसला लेंगे। हालांकि, उन्होंने दावा किया कि शिवसेना प्रमुख केंद्रीय मंत्रिमंडल में कोई पद नहीं लेंगे क्योंकि उनकी दिलचस्पी महाराष्ट्र की राजनीति में है।

भोपाल में 36 साल में सबसे ज्यादा सर्दी,बर्फीली हवा से ठिठुरा प्रदेश, शिमला-मसूरी से भी ठंडा
भोपाल में 36 साल में सबसे ज्यादा सर्दी; मंडला-शहडोल में 7 डिग्री से नीचे पाराबर्फीली हवाओं से मध्यप्रदेश ठिठुर गया है। कई शहरों में दिसंबर-जनवरी जैसी ठंड पड़ रही है। भोपाल में नवंबर का महीना 36 साल में सबसे ज्यादा ठंड है। यहां पारा 8.2 डिग्री पहुंच चुका है। वहीं, मंडला और शहडोल में पारा 7 डिग्री के नीचे है। नवंबर के आखिरी दिन भी तेज सर्दी का असर रहने की संभावना है। दिसंबर में कड़ाके की ठंड का दौर रहेगा। पश्चिम-उत्तर भारत के ऊपर जेट स्ट्रीम 234 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से बह रही है। मध्यप्रदेश के शहरों में यह औसत 8 से 10्यद्व है। इस वजह से भोपाल, इंदौर, उज्जैन, ग्वालियर-जबलपुर के साथ ही छोटे शहरों में भी तेज ठंड है। शुक्रवार को सर्द हवाओं की वजह से लोग कंपकपा उठे। इससे बचने के लिए वे दिनभर गर्म कपड़ें पहने रहे।