सरकार की यह योजना रोज तोड़ रही है रिकॉर्ड.
भोपाल.मंगल भारत।मनीष द्विवेदी। आज से करीब 16 साल पहले शुरू की गई लाडली लक्ष्मी योजना की तरह लाडली बहना योजना देशभर में न केवल तेजी से लोकप्रिय हो रही है, बल्कि उससे तेजी से आगे निकल गई है। प्रदेश में अब तक जहां लाडली लक्ष्मी योजना में 44.71 लाख का पंजीयन हुआ है, वहीं लाडली बहना योजना में 10 दिन में ही आंकड़ा 59 लाख के पार जा पहुंचा है। दरअसल, इस योजना में महिलाओं का बड़ा समूह शामिल हो रहा है। चुनावी वर्ष में शुरू हुई लाडली बहना योजना ने शिवराज सरकार की पिछली सभी योजनाओं के रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। सरकार को पिछले 16 वर्ष में जितनी लाड़ली लक्ष्मी मिलीं, उससे कहीं ज्यादा लाड़ली बहना 10 दिन में मिल गईं। आंकड़ा 59 लाख के पार जा पहुंचा है, जबकि लाड़ली लक्ष्मी योजना में 44.71 लाख का पंजीयन हुआ।
लाडली बहना योजना के लिए सरकार ने खजाना खोल दिया है। इसके लिए बजट में अभी 8 हजार करोड़ का प्रावधान किया गया है। जरूरत पड़ने पर राशि बढ़ाई जाएगी। प्रत्येक पात्र महिला को एक हजार, रुपए प्रतिमाह सरकार देगी। यानी उन्हें साल में 12 हजार रुपए मिलेंगे।
बहनों की जिंदगी बदल जाएगी
दरअसल, लाडली बहना योजना बहनों की जिंदगी बदलने वाली है। एक हजार रुपए महीने से बहनों की छोटी-मोटी जरूरतें पूरी होंगी। यह बहनों की जिंदगी बदलने की योजना है। सीएम ने योजना में फॉर्म भरने और पात्र महिलाओं को जानकारी देने में जनप्रतिनिधियों से सहयोग करने की अपील की। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान कहते हैं कि इसे सफल बनाने में मेरा सहयोग कीजिए। यह सिर्फ मेरे अकेले का काम नहीं है। हम सबको मिलकर करना है। सीएम ने कहा कि बहनों को आवेदन फॉर्म भरने के लिए परेशान होने की जरूरत नहीं है। 30 अप्रैल तक आवेदन ऑनलाइन भरे जाएंगे। फिर एक सूची जांच के बाद ग्राम पंचायत कार्यालय अथवा उपयुक्त स्थान पर चस्पा की जाएगी। किसी को आपत्ति होगी तो ऑनलाइन या लिखित शिकायत लेकर आपत्ति लगा सकता है। सीएम ने कहा कि प्राचीन भारत में हम देखते हैं कि बहनों और बेटियों का कितना सम्मान था, लेकिन बीच के कालखंड में गुलामी और परतंत्रता के कारण मुगल काल में विशेष परिस्थितियों के कारण बहनों का मान सम्मान कम होता चला गया। इसका एक उदाहरण यह था कि बेटे ज्यादा जन्म लेते थे और बेटियां कम। तब हमने लाडली लक्ष्मी योजना बनाई थी। मुझे खुशी है कि लाडली लक्ष्मी योजना ने चमत्कार किया है। बेटा और बेटियों का अनुपात बदलने लगा है। केवल लाडली लक्ष्मी योजना से काम नहीं होगा, इसलिए हमने बहनों के सशक्तिकरण के लिए कई महत्वपूर्ण निर्णय किए हैं। स्थानीय निकाय चुनाव में महिलाओं के लिए 50 प्रतिशत रिजर्वेशन किया। शासकीय सेवाओं में शिक्षकों की भर्ती में 50 प्रतिशत, पुलिस में 30 प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान किया।
16 साल का लाडली लक्ष्मी का रिकार्ड
वित्तीय वर्ष पंजीयन
2007-08 40854
2008-09 186803
2009-10 213874
2010-11 305228
2011-12 380260
2012-13 318912
2013-14 280585
2014-15 252745
2015-16 255206
2016-17 312758
2017-18 323558
2018-19 332595
2019-20 331549
2020-21 345064
2021-22 319102
2022-23 272194