तारीख पर तारीख….. कब होगा पूर्व मुख्यमंत्रियों की प्रतिमाओं का अनावरण

मंगल भारत।मनीष द्विवेदी। प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्रियों के


सम्मान और याद में सरकार ने मंत्रालय में उनकी प्रतिमाएं लगाने का निर्णय लिया है, लेकिन कई तारीखें बीत जाने के बाद भी प्रतिमाओं का अनावरण नहीं हो सका है। ऐसे में सवाल उठने लगा है कि आखिरकार पूर्व मुख्यमंत्रियों की प्रतिमाओं का अनावरण कब होगा। गौरतलब है कि मंत्रालय परिसर में दिवंगत पूर्व मुख्यमंत्री पं. रविशंकर शुक्ल, भगवंत राव मंडलोई, कैलाश नाथ काटजू, पं. द्वारिका प्रसाद मिश्र, राजा नरेश चंद्र सिंह, गोविंद नारायण सिंह, श्यामाचरण शुक्ल, प्रकाश चंद्र सेठी, कैलाश जोशी, वीरेंद्र कुमार सखलेचा, अर्जुन सिंह, मोतीलाल वोरा, सुंदरलाल पटवा और बाबूलाल गौर की प्रतिमाएं लगाई गई है। करीब छह महीने से ये प्रतिमाएं बनकर तैयार हैं, लेकिन इनके अनावरण का शुभ मुहूर्त नहीं आ पा रहा है। दरअसल, राज्य सरकार ने प्रदेश के सभी दिवंगत पूर्व मुख्यमंत्रियों की प्रतिमाएं मंत्रालय परिसर में एक साथ एक स्थान पर स्थापित करने का निर्णय लिया था। मप्र विधानसभा ने सामान्य प्रशासन विभाग को सभी दिवंगत पूर्व मुख्यमंत्रियों के फोटो उपलब्ध कराए थे। प्रतिमाओं के निर्माण के दौरान दिवंगत पूर्व मुख्यमंत्रियों के परिजनों को प्रतिमाएं दिखाई गई कि उनका चेहरा-मोहरा दिवंगत मुख्यमंत्रियों से मेल खा रहा है या नहीं, ताकि बाद में विवाद की स्थिति न बने। उनकी सहमति मिलने के बाद प्रतिमाओं को अंतिम रूप दिया गया। कपड़े से ढंकी इन प्रतिमाओं को पिछले छह महीने से अनावरण का इंतजार है।
कई बार अनावरण की तारीख आगे बढ़ी
उल्लेखनीय है कि प्रदेश में पूर्व मुख्यमंत्रियों की प्रतिमाओं के निर्माण के बाद सरकार ने इन्हें मंत्रालय में लगवाने की सारी तैयारी कर ली है। लेकिन दो महीने में तीन बार प्रतिमाओं के अनावरण की तारीख आगे बढ़ चुकी है। पिछले दिनों 23 अगस्त को दोपहर 12 बजे मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के मुख्य आतिथ्य में प्रतिमाओं का अनावरण किया जाना तय किया गया था। एमएसएमई मंत्री ओपी सखलेचा ने इस संबंध में अधिकारियों के साथ बैठक कर उन्हें कार्यक्रम के संबंध में जरूरी निर्देश दिए थे। उन्होंने कहा था कि कार्यक्रम में दिवंगत मुख्यमंत्रियों के परिजनों को भी आमंत्रित किया जाए, लेकिन अब इसकी तारीख आगे बढ़ा दी गई है। इससे पहले जुलाई के पहले सप्ताह में और उससे पूर्व 20 जून को प्रतिमाओं के अनावरण की तारीख तय की गई थी, लेकिन जैसे ही प्रतिमाओं के अनावरण का समय नजदीक आता है, हर बार तारीख आगे बढ़ जाती है।