मप्र विधानसभा चुनाव में कोई लहर नहीं होने के बाद भी सूबे के कई बजीरों के सामने इस बार कठिन चुनौती बनी हुई है। इसमें वे बजीर भी शामिल हैं जो शिव सरकार में काफी प्रभावशाली माने जाते रहे हैं। खास बात यह है कि इस दौरान सरकार व पार्टी से अधिक मंत्रियों व उनके करीबियों का विरोध हो रहा है। दरअसल सरकार में रहने के दौरान इन मंत्रियों व उनके करीबियों ने कार्यकर्ताओं के काम कराने उनसे खूब चक्कर लगवाए और बाद में उनके काम भी नहीं किए। जिसकी वजह से कार्यकर्ताओं के साथ ही आम आदमी भी नाराज है, जो इस बार उन्हें चुनावी नुकसान पहुंचा रहे हैं। ऐसे मंत्रियों में शिव सरकार के एक दर्जन गणों के सामने हार का खतरा मंडरा रहा है। यही वजह है कि शिवराज सिंह चौहान के बाल सखा और कई विभागों के मंत्री रामपाल के खिलाफ उनके इलाके की दो समाज विरोध में एक हो गई हैं। जिसकी वजह से सिलवानी में परिणाम विरोध में जाता दिख रहा है।, वहीं
भोजपुर में कार्यकर्ताओं की खुलकर नाराजगी का सामना सुरेंद्र पटवा को करना पड़ रहा है। इस वजह से भाजपा की यह परंपरागत सीट भी खतरे में दिख रही है। उनसे चुनावी मेहनत करने वाले कार्यकर्ता खफा होकर थोक में भाजपा छोडक़र कांग्रेस का दामन थाम चुके हैं। इधर मंत्री उमाशंकर गुप्ता में त्रिकोणीय मुकाबले में फंस गए हैं। उनकी सीट भी खतरे में पड़ी हुई है। विधानसभा चुनाव एक ऐसा अवसर होता है, जो काम नहीं होने की वजह से असंतुष्ट कार्यकर्ताओं को मनाने में बीत जाता है। कई बार तो नुकसान उठाने वाले कार्यकर्ता और नेताओं के बीच उलझे मंत्रियों को भी सबक सिखाने का मौका मिल जाता है और यह तस्वीर भोजपुर विधानसभा क्षेत्र में देखने को मिल रही है।
यहां पड़ रही कार्यकर्ताओं की उपेक्षा भारी
विजयराघोगढ़- मंत्री एवं भाजपा प्रत्याशी संजय पाठक का मुकाबला कांग्रेस की पद्मा शुक्ला से, बसपा से राम सरोवर कुशवाह, शिवसेना से योगेंद्र पाटिल, आप से रमाकांत पटेल सहित 14 प्रत्याशी मैदान मे हैं। यहां पार्टी के कार्यकर्ता ही उनके साथ नहीं दिख रहे हैं।
जबलपुर नार्थ : मंत्री एवं भाजपा प्रत्याशी शरद जैन, मुख्य मुकाबला कांग्रेस के विनय सक्सेना, सपा के रजनीश नवेरिया, आप के अभिषेक शर्मा, शिवसेना के अमरेश पांडे तथा गोंडवाना के शेखावत खान साहब सहित 24 प्रत्याशियों से है। यहां उनके लिए पार्टी कार्यकर्ता का बागी होना मुश्किलें वाला बन गया है।
बालाघाट : मंत्री एवं भाजपा प्रत्याशी गौरीशंकर बिसेन, मुख्य मुकाबला कांग्रेस के विश्वेश्वर भगत, सपा की अनुभा मुंजारे, बसपा के योगेश समरिते, आप के अफशाना खान, सपाक्स की मनीषा नानू विद्या सहित 18 प्रत्याशियों से हैं।
भोजपुर : मंत्री एवं भाजपा प्रत्याशी सुरेंद्र पटवा, मुख्य मुकाबला कांग्रेस के सुरेश पचौरी, बसपा के पोहप सिंह चौधरी, आप के अर्पित श्रीवास्तव, गोंडवाना के रवि धुर्वे तथा सपाक्स की सीमा शर्मा सहित 12 प्रत्याशियों से।
सिलवानी : मंत्री एवं भाजपा प्रत्याशी रामपाल सिंह, मुख्य मुकाबला कांग्रेस के देवेंद्र पटेल, बसपा के बाबूलाल पहलवान, सपा के गौरीसिंह यादव, सपाक्स के अब्दुल वाहिद खान, शिवसेना के संघर्ष कुमार, आप के संतोष रघुवंशी सहित 19 प्रत्याशियों से।
हाटपिपलिया: भाजपा प्रत्याशी दीपक जोशी, मुकाबला कांग्रेस के मनोज नारायण सिंह से, बसपा के संतोष खानगोडे, आप के महेंद्र सिंह तथा सपा के राधेश्याम दांगी सहित 8 प्रत्याशियों से है। कुल मतदाता एक लाख 86 हजार 334, पुरुष 95 हजार 969, महिला 90 हजार 25।
हरसूद : मंत्री एवं भाजपा प्रत्याशी विजय शाह, मुख्य मुकाबला कांग्रेस के सुखराम साल्वे से, बसपा के विनय सिंह, शिवसेना के दयाराम, आप की प्रमिला चौहान, गोंडवाना के श्याम धर्मसीमा सहित 8 प्रत्याशियों से।
बुरहानपुर : मंत्री एवं भाजपा प्रत्याशी अर्चना चिटनीस, मुख्य मुकाबला कांग्रेस के रविंद्र महाजन, बसपा के मनोज पवार सहित 10 प्रत्याशियों से।
खरगौन : मंत्री एवं भाजपा प्रत्याशी बालकृष्ण पाटीदार, मुख्य मुकाबला कांग्रेस के रवि जोशी, बसपा के सुरेश तंवर, जनता कांग्रेस के सत्तार खत्री, सपाक्स के कमलेश भंडारी सहित 10 प्रत्याशियों से।
सेंधवा : भाजपा प्रत्याशी अंतर सिंह आर्य, मुकाबला कांग्रेस के ग्यारसी लाल रावत, सपा, बसपा और निर्दलीय सहित 10 प्रत्याशियों से है।